रोज़ बातें और मुलाकातें इतनी भी जरूरी नहीं, तेरे होने का अहसास ही काफी है मेरे लिए.... ये ख़ामोशी और फ़ासले इतने भी नही अखरते अब कहीं भी रहे तू हर पल करीब ही है मेरे लिए...... -शालिनी पाण्डेय
शब्द मेरी भावनाओं के चोले में
शब्द मेरी भावनाओं के चोले में